क्या आपको पता है कि जिन विज्ञापनों को आप सड़क किनारे लगे होर्डिंग, टीवी, अखबारों, सोशल मीडिया या पैम्फलेट पर देखते हैं दरअसल में उन्हें लिखता कौन है? क्या आप जानते है कि ये छोटे-छोटे वीयपन लिखने वाले लोगों को कंपनियां हज़ार से लेकर लाखों रूपए तक तनख्वाह के रूप में देती हैं। वैसे तो ये भी लेखक का ही एक प्रकार है लेकिन लोगों का मानना है कि इस क्षेत्र में कम मेहनत लगती है, जबकि दिमाग ज़्यादा लगता है और ज़्यादा पैसे तो ठीक ठाक मिलते ही हैं।
टेक्निकली इन्हीं लोगों को कॉपीराइटर बोला जाता है। किसी भी कॉपीराइटर की जिम्मेदारी सिर्फ विज्ञापन को शब्दों से सराबोर करने की नहीं होती, बल्कि वह विज्ञापन के माध्यम से दर्शकों और श्रोताओं के दिलो-दिमाग में उत्पाद के जरिये किसी कंपनी की छवि भी गढ़ देता है। कॉपीराइटर प्रोडक्ट का इमेजमेकर होता है। 'ठंडा मतलब कोका-कोला', '2 मिनट में मैग्गी' या 'पहले इस्तेमाल करें फिर विश्वास करें' जैसी लाइनें एक कॉपीराइटर के द्वारा ही अस्तित्व में आयी हैं।
आज इस ब्लॉग में हम जानने और समझने की कोशिश करेंगे कि कैसे आप एक कॉपीराइटर बन सकते हैं और एक कॉपीराइटर बनने के लिए किन कौशलों की आवश्यकता होगी। अंत में हम कुछ बेस्ट मीडिया स्कूल (Best media school) के बारे में भी जानेंगे जहाँ से आप कॉपीराइटर बनने की पहली सीढ़ी चढ़ सकते हैं।
कॉपीराइटर के पास कौन-कौन से स्किल होने चाहिए?
यहां उन स्किल्स की एक सूची दी गई है जो कॉपी राइटिंग में अपना करियर बनाने की इच्छा रखने वालों के पास होने चाहिए। सभी सर्वश्रेष्ठ जनसंचार कॉलेज इन स्किल्स पर काम करते हैं। इसलिए सबसे अच्छे मास मीडिया संस्थानों (online media college in Delhi) में से एक में प्रवेश लेना आवश्यक है। आइए कुछ बुनियादी स्किल्स पर एक नज़र डालें और उसके बाद कुछ प्रमुख जनसंचार संस्थानों पर नज़र डालेंगे।
• भाषा पर अच्छी पकड़
• अच्छी शब्दावली का ज्ञान
• सुनने का कौशल
• अनुसंधान कौशल
• जिज्ञासा
• मामले के दूसरे पहलु को देखने की क्षमता
शुरुआत कैसे और कहाँ से करें?
चिंता मत कीजिये। किसी के पास शुरुआत से ही ये स्किल्स नहीं होते हैं। यह उस कॉलेज की जिम्मेदारी है जिसमें आप अपने बोर्ड की परीक्षा के बाद अध्ययन करेंगे। कॉलेज का प्रमुख जन मीडिया संस्थान (Best Media College) होना चाहिए कि वे आपको कॉपी राइटिंग के मूल सिद्धांतों को पढ़ाने में सक्षम होंगे। अपने कॉलेज को चुनने के लिए यह एक महत्वपूर्ण कदम है। तो चलिए, दिल्ली में कुछ सरकारी जन संचार संस्थानों (Government approved media college) पर एक नज़र डालते हैं: -
• इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ मास कम्यूनिकेशन, दिल्ली
• माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता व संचार विश्वविद्यालय, नॉएडा
• ईयान स्कूल ऑफ़ मास कम्युनिकेशन, नई दिल्ली (IAAN School Of Mass Communication, IAAN)
• मास मीडिया रिसर्च सेंटर, जामिया मिलिया इस्लामिया, नई दिल्ली
तो ये थे कुछ संस्थान और कॉपीराइटिंग के स्किल्स जिनकी मदद से आप करियर बना सकते हैं। कल आएंगे एक नए ब्लॉग के साथ।
अग्रिम भविष्य के लिए शुभकामनाएं।
IAAN
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